पुखराज पहनने के नियम | Pukhraj Pehne ke Niyam

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पुखराज रत्न, जिसे इंग्लिश में Yellow sapphire stone और संस्कृत में पुष्कराज कहा जाता है, भारतीय ज्योतिष में बृहस्पति ग्रह का रत्न माना जाता है। इसे पहनने से ज्ञान, वैवाहिक सुख, करियर में सफलता, आर्थिक समृद्धि और अच्छे स्वास्थ्य का लाभ मिल सकता है। लेकिन क्या आप जानते हैं कि पुखराज पहनने के भी कुछ खास नियम होते हैं? अगर इन 10 बड़े नियमों का पालन न किया जाए, तो इसका असर कम भी हो सकता है या उल्टा असर भी दिखा सकता है।

आइए इस ब्लॉग में विस्तार से जानते हैं पुखराज पहनने के नियम, कौन पहन सकता है, कौन नहीं, और इसे पहनने से जुड़े जरूरी ज्योतिषीय सुझाव – सब कुछ आसान हिंदी में।

Jane पुखराज रत्न कीमत

पुखराज पहनने के 10 बड़े नियम

अब जानते हैं पुखराज पहनते समय किन 10 जरूरी बातों का ध्यान रखना चाहिए:

पुखराज हमेशा गुरुवार को पहनें

पुखराज बृहस्पति का रत्न है, और गुरुवार (Thursday) बृहस्पति का ही दिन माना जाता है। गुरुवार के दिन सूर्योदय के बाद, शुद्ध होकर रत्न धारण करें। इससे इसका असर सबसे अच्छा आता है।

धातु का सही चुनाव – सोना या पंचधातु

पुखराज रत्न सोना (Gold) या पंचधातु (सोना, चाँदी, तांबा, जस्ता और लोहा) में जड़वाकर पहनना चाहिए। सोना सबसे उत्तम माना जाता है, पर पंचधातु भी शुभ परिणाम देता है। प्लेटिनम, स्टील या अन्य धातु में पुखराज नहीं पहनें।

दाहिने हाथ की तर्जनी (इंडेक्स फिंगर) में पहनें

पुखराज को दाहिने हाथ की तर्जनी यानी इंडेक्स फिंगर में पहनना चाहिए, क्योंकि यह बृहस्पति की अंगुली मानी जाती है। पुरुष दाहिने हाथ में पहनें, महिलाएँ चाहें तो दाहिने या बाएँ में पहन सकती हैं, पर परंपरा दाहिने हाथ में पहनने की है।

शुद्धिकरण की विधि अपनाएँ

रत्न को पहनने से पहले गंगाजल और कच्चे दूध में 15 – 20 मिनट रखें। इससे नकारात्मक ऊर्जा दूर होती है और रत्न की सकारात्मक ऊर्जा सक्रिय होती है।

सही मंत्र का जाप करें

पुखराज पहनने से पहले “ॐ बृं बृहस्पतये नमः” मंत्र का 108 बार जाप करें। इससे रत्न गुरु ग्रह से सही तरह जुड़ता है और असर तेज़ आता है।

पुखराज का वजन सही रखें

ज्योतिष में पुखराज का वजन बहुत मायने रखता है। आमतौर पर 5 से 7 रत्ती का पुखराज शुभ माना जाता है, पर असली जरूरत आपकी कुंडली के हिसाब से तय होती है। ज्यादा या बहुत कम वजन का रत्न असर को बदल सकता है।

हमेशा असली और लैब सर्टिफाइड पुखराज ही पहनें

नकली, हीटेड या ट्रीटेड पुखराज का असर कम या बिल्कुल भी नहीं आता। हमेशा MyRatna जैसे प्रमाणित gemstone vendor से ही खरीदें, जहाँ 100% असली और लैब सर्टिफाइड पुखराज मिलते हैं।

रत्न धारण करने से पहले ज्योतिषी से सलाह लें

पुखराज हर किसी के लिए नहीं होता। इसलिए कुंडली देखकर ज्योतिषी से पूछें कि पुखराज आपके लिए सही है या नहीं। गलत रत्न नुकसान भी कर सकता है।

पुखराज को पन्ना या हीरे के साथ न पहनें

पुखराज को हीरा (वृश्चिक या वृषभ राशि का रत्न) या पन्ना (बुध ग्रह का रत्न) के साथ पहनना वर्जित माना जाता है। इससे ग्रहों का असर उल्टा पड़ सकता है।

पुखराज पहनते समय मन और शरीर शुद्ध रखें

रत्न पहनते समय स्नान करके शुद्ध वस्त्र पहनें और साफ मन से मंत्र जाप करें। नकारात्मक विचार, क्रोध या अपवित्र स्थान पर पहनने से रत्न का असर कम हो सकता है।

Learn Pukhraj Stone Advantages in English

पुखराज पहनने के फायदे

  • करियर में सफलता और प्रमोशन
  • विवाह योग्य जातकों के लिए विवाह में मदद
  • शिक्षा, ज्ञान और याददाश्त में वृद्धि
  • धन, संपत्ति और सुख-समृद्धि का आना
  • शरीर में रोग-प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाना

Learn पुखराज रत्न पहनने के फायदे

पुखराज कौन पहन सकता है?

पुखराज रत्न गुरु ग्रह (बृहस्पति) को मजबूत करता है। इसलिए यह उन लोगों के लिए सबसे अच्छा माना जाता है:

  • जिनकी कुंडली में गुरु कमजोर हो या दशा में परेशानी दे रहा हो।
  • धनु (Sagittarius) और मीन (Pisces) राशि के जातक, जिनका स्वामी ग्रह बृहस्पति है।
  • जिनका पेशा शिक्षा, कानून, लेखन, धर्म, परामर्श या अध्यात्म से जुड़ा हो।
  • जो संतान सुख, विवाह में देरी या पढ़ाई में कठिनाइयों से जूझ रहे हों।

महत्वपूर्ण: पुखराज पहनने से पहले किसी अनुभवी ज्योतिषी से अपनी जन्म कुंडली अवश्य दिखाएँ।

पुखराज किसे नहीं पहनना चाहिए?

मकर, कुंभ, तुला, मिथुन, वृषभ और कन्या राशि वालों को बिना सलाह के पुखराज पहनना नहीं चाहिए। कभी-कभी कुंडली में बृहस्पति अशुभ हो, तो भी पुखराज नुकसान कर सकता है।

Learn पुखराज रत्न किस उंगली में पहने

निष्कर्ष

पुखराज रत्न बेहद शुभ है, पर इसे सही विधि और नियमों से ही पहनना चाहिए। गुरुवार के दिन, सोना या पंचधातु में, दाहिने हाथ की तर्जनी में, मंत्र जाप और शुद्धिकरण के बाद ही पहनें। हमेशा असली, लैब सर्टिफाइड पुखराज पहनें और किसी अनुभवी ज्योतिषी से सलाह लें।

FAQ – अक्सर पूछे जाने वाले सवाल

पुखराज पहनने के बाद असर कब दिखता है?

आमतौर पर 15 – 45 दिनों में असर महसूस होने लगता है, लेकिन कुंडली और ग्रह दशा के अनुसार अलग-अलग हो सकता है।

पुखराज कितने साल तक असर करता है?

असली पुखराज लगभग 4 – 5 साल तक अच्छा असर देता है। इसके बाद नया रत्न पहनना चाहिए।

पुखराज किस धातु में पहनना सबसे अच्छा है?

सोना सबसे शुभ है, लेकिन पंचधातु में भी पहन सकते हैं।

पुखराज किस दिन पहनें?

गुरुवार के दिन, सूर्योदय के बाद।

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